ब्राह्मण त्याग व तपस्या की प्रति मूर्ति होता है: सांसद पं. अरविंद शर्मा

हरियाणा सरकार भी करें ब्राह्मण कल्याण बोर्ड की भी स्थापना

फरीदाबाद, 07 मई। रोहतक के सांसद पं. अरविंद शर्मा ने मध्य प्रदेश की तर्ज पर हरियाणा में भी ब्राह्मण कल्याण बोर्ड बनाने की मांग की है। पं. अरविन्द शर्मा श्री ब्राह्मण सभा सैक्टर-7 फरीदाबाद द्वारा एक माह तक आयोजित होने वाले परशुराम जन्मोत्सव कार्यक्रम में नालंदा पब्लिक स्कूल में आयोजित राष्ट्र बोध उत्सव समारोह में उपस्थित बंधुओं को सम्बोधित कर रहे थे। इस अवसर पर सांसद अरविन्द शर्मा श्री ब्राह्मण सभा सेक्टर-7 के प्रधान प्रो. वीके शर्मा व संस्था के पदाधिकारियों ने समाज के उत्थान में विशेष योगदान देने वाले स्व. बी.आर.ओझा, आर.डी. शर्मा, पं. किशन चंद दीक्षित मरणोपरांत सम्मानित किया।

यह सम्मान उनके परिजनों को दिया गया। इस अवसर पर प्रदेश के परिवहन मंत्री पं. मूलचंद शर्मा के बड़े भाई पं. टिपरचंद शर्मा, पूर्व विधायक आनन्द कौशिक, भाजपा के पूर्व प्रदेश महासचिव संदीप जोशी, विधायक सीमा त्रिखा के पति एवं वरिष्ठ अधिवक्ता अश्वनी त्रिखा, भाजपा जिलाध्यक्ष गोपाल शर्मा, पी.सी. मस्ता के अलावा ब्राह्मण सभा के राष्ट्रीय अध्यक्ष हरि प्रकाश कौशिक, पूर्व न्यायाधीश कैलाश शर्मा, रेनू चौहान वशिष्ठ, ब्रजलाल शर्मा, श्याम सुन्दर शर्मा, ईश्वर कौशिक, ब्रजमोहन बातिश, नरेन्द्र वत्स सहित अन्य कई गणमान्य व्यक्ति मौजूद थे। ब्राह्मणों के देश के विकास में अहम योगदान पर विस्तार से प्रकाश डालते हुए सांसद डॉ. अरविंद शर्मा ने कहा कि ब्राह्मण त्याग व तपस्या की प्रतिमूर्ति होता है तथा ब्राह्मण जातिवाद में विश्वास न कर समाज व देश के विकास के लिए सभी वर्गों के साथ मिलकर काम करने में विश्वास रखता है।

उन्होंने कहा कि भगवान श्री परशुराम के जन्म स्थल के संदर्भ में विभिन्न विचारों पर उत्तर प्रदेश के शोध संस्थान ने साइंटिफिक व जियोलॉजिकल तरीके से सर्वे कर यह पक्के तौर पर साबित कर दिया है कि भगवान परशुराम का जन्म स्थल मध्य प्रदेश के इंदौर जिले के जाना पाव में है और वहां की सरकार ने भगवान परशुराम के जन्मोत्सव के अवसर पर आयोजित कार्यक्रम में ब्राह्मण कल्याण बोर्ड बनाने की भी घोषणा कर दी है। हमारे हरियाणा में संत, पुरोहित, पुजारी कल्याण बोर्ड की स्थापना कर दी है। जो कि एक अच्छी बात है किन्तु हरियाणा सरकार को चाहिए कि वह ब्राह्मण कल्याण बोर्ड की भी स्थापना करें। उन्होंने कहा कि शोध से यह भी सिद्ध हो चुका है कि भगवान श्रीराम का इतिहास जहां एक ओर 60 हजार साल रहा था, वहीं भगवान श्री परशुराम का इतिहास 1 लाख वर्ष का रहा। उन्होंने राम चरित मानस के संदर्भ में विभिन्न राजनीतिक दलों के लोगों द्वारा की जा रही तरह-तरह की टिप्पणियों पर करारा प्रहार करते हुए कहा कि राम चरित्र मानस जीवन जीने का उत्तम माध्यम सिखलाता है तथा रामचरित्र मानस को राष्ट्रीय ग्रंथ घोषित कर देना चाहिए। इस मंच से सांसद अरविंद शर्मा ने प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी की विकास नीतियों का भी जमकर गुणगान किया और ऐसे कार्यक्रमों का आयोजन सभी को करना चाहिए। उन्होंने कहा कि प्रो. वीके शर्मा ने हमेशा ही ब्राह्मणों के हित के साथ-साथ समाज के हित की बात की है। मुझे इस बात का गर्व है कि मैं स्वयं इनका शिष्य हूं।

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