क्रेडिट कार्ड की लिमिट बढ़ाने के नाम पर धोखाधड़ी करने वाले दो आरोपियों को साइबर थाना एनआईटी ने किया गिरफ्तार

आरोपियों के कब्जे से 12 मोबाइल फोन, वारदात में प्रयोग अर्टिगा गाड़ी, क्रेडिट कार्ड धारकों का डाटा तथा ₹10600 नकद बरामद

फरीदाबाद: डीसीपी साइबर जसलीन कौर के दिशा निर्देश तथा एसीपी साइबर अभिमन्यु गोयत के मार्गदर्शन में कार्रवाई करते हुए साइबर थाना एनआईटी प्रभारी अमित कुमार की टीम ने साइबर ठगी के मामले में दो आरोपियों को गिरफ्तार किया है।

पुलिस प्रवक्ता सूबे सिंह ने बताया कि गिरफ्तार किए गए आरोपियों में दीपक तथा सिद्धार्थ का नाम शामिल है। आरोपी दीपक दिल्ली के सुभाष नगर तथा सिद्धार्थ उत्तर प्रदेश के गोरखपुर का रहने वाला है। दिनांक 12 जनवरी 2024 को साइबर थाने में धोखाधड़ी की धाराओं के तहत मुकदमा दर्ज किया गया था जिसमें आरोपियों ने पीड़ित सुनील के साथ क्रेडिट कार्ड की लिमिट बढ़ाने का झांसा देकर 43500 की धोखाधड़ी की थी। शिकायत के आधार पर मुकदमा दर्ज करके मामले की जांच शुरू की गई जिसमें पुलिस ने तकनीकी तथा गुप्त सूत्रों की सूचना के आधार पर उक्त दो आरोपियों को 14 मार्च को दिल्ली से गिरफ्तार कर लिया।

मामले में गहनता से पूछताछ करने के लिए आरोपियों को 4 दिन के पुलिस रिमांड पर लिया गया जिसमें पुलिस रिमांड के दौरान पूछताछ में सामने आया कि आरोपियों के साथ एक लड़की तथा दो अन्य लड़के शामिल हैं। आरोपी अर्टिगा गाड़ी में बैठकर ही क्रेडिट कार्ड धारकों को फोन करते थे और क्रेडिट कार्ड की लिमिट बढ़ाने के नाम पर उनका कार्ड नंबर, सीवी मांगते थे। जानकारी के अभाव में क्रेडिट कार्ड धारक इन्हें अपने कार्ड की सारी जानकारी दे देता था जिसके पश्चात यह क्रेडिट कार्ड से पैसे अपने खातों में ट्रांसफर करवा लेते थे।

आरोपी क्रेडिट कार्ड से पैसे असम के रहने वाले उनके साथी के खाते में डलवाते थे और वहां से पैसे यहां दिल्ली एनसीआर में निकलवा लेते थे। आरोपियों के कब्जे से 12 मोबाइल फोन, वारदात में प्रयोग अर्टिगा गाड़ी तथा ₹10600 नकद बरामद किए गए। आरोपियों के पास क्रेडिट कार्ड धारकों का डाटा भी पाया गया जिसे पुलिस कब्जे में लिया गया है। पुलिस जांच में सामने आया कि आरोपियों के खिलाफ इससे पहले भी दिल्ली में धोखाधड़ी का एक मुकदमा दर्ज है। पुलिस पूछताछ पूरी होने के पश्चात आरोपियों को अदालत में पेश करके जेल भेज दिया गया है।

अक्सर साइबर फ्रॉड में देखा गया है कि कुछ लोग लालच या ऑफर के चक्कर में साइबर ठगी के शिकार हो जाते हैं जिसमें क्रेडिट कार्ड की लिमिट बढ़, शेयर मार्किट में पैसे लगवाकर मुनाफा दिलाने के नाम पर, कम पैसे में गहने बेचने के नाम पर, गेम खेलकर पैसे कमाने के नाम पर, नौकरी दिलाने के नाम पर, तीर्थ यात्रों करवाने के नाम पर साइबर अपराधी नए-नए तरीके अपनाकर भोले भाले नागरिकों के साथ साइबर ठगी की वारदात को अंजाम देते हैं परंतु इसके प्रति जागरूक होकर हम साइबर अपराधियों के चंगुल से बच सकते हैं और साइबर अपराध के विरुद्ध जागरूक होकर अपने साथियों को भी इससे बचा सकते हैं साइबर ठगी की वारदात घटित होने पर तुरंत 1930 पर कॉल कर सूचना दें ताकि आपके पैसे को तुरंत आपके अकाउंट से भेजे गए दूसरे अकाउंट में फ्रिज किया जा सके।

Related Articles

Back to top button